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श्रीमंत सिंधिया देवदूत बनकर बच गए, एक बालक की जान बचाई।

संदीप शुक्ला – ग्वालियर

केंद्रीय संचार मंत्री श्रीमंत ज्योतिरादित्य सिंधिया देवदूत बनकर बच गए, एक आदिवासी बालक की जान बचाई।

अशोक नगर जिले के मुंगावली निवासी निर्मल सिंह आदिवासी जयपुर, राजस्थान में मजदूरी करने गए थे, वहां उन्हें टाइफाइड हो गया और आंत में छेद (इलियल परफोरेशन) हो गया। हालत बहुत गंभीर हो गई। वहां निजी अस्पताल ने बताया कि 3 लाख रुपए का खर्च आएगा, जिसे वहन करने में परिवार सक्षम नहीं था। परिजन मरीज को शिवपुरी लेकर आए। बालक के पिता कैप्टन आदिवासी ने इसकी जानकारी सत्येंद्र शर्मा ग्वालियर को दी। सत्येंद्र शर्मा ने तत्काल केंद्रीय मंत्री श्रीमंत ज्योतिरादित्य सिंधिया जी और निजी सचिव श्री पुरुषोत्तम पाराशर जी को इसकी जानकारी दी। श्रीमंत सिंधिया जी ने अपने निजी सचिव पुरुषोत्तम पाराशर जी और कलेक्टर शिवपुरी को बेहतर से बेहतर इलाज कराने के निर्देश दिए। शिवपुरी मेडिकल कॉलेज के डॉक्टरों ने मरीज को तुरंत भर्ती कर लिया। मरीज की गंभीर हालत को देखते हुए अस्पताल के डीन डी परमहंस ने आवश्यक जांच कराई और मरीज की आंत (इलियल परफोरेशन) का तत्काल डीन डॉ डी परमहंस और डॉ संदीप शर्मा ने ऑपरेशन किया। एनेस्थीसिया डॉक्टर शिल्पा अग्रवाल और डॉ त्यागी की मौजूदगी में ऑपरेशन सफल रहा।

केंद्रीय मंत्री श्रीमंत सिंधिया के देवदूत अवतार की हर जगह प्रशंसा हो रही है।

भाजपा जिला मंत्री सत्येंद्र शर्मा ने कहा कि केंद्रीय मंत्री श्रीमंत ज्योतिरादित्य सिंधिया क्षेत्र की जनता के प्रति काफी सजग हैं और लोगों की मदद के लिए हमेशा आगे रहते हैं। निर्मल आदिवासी की जान श्रीमंत ज्योतिरादित्य सिंधिया ने बचाई थी। इससे पहले केदारनाथ में फंसे यात्रियों को सुरक्षित निकाला गया था। ऐसे कई उदाहरण हैं और जब भी क्षेत्र की जनता पर कोई विपदा आई है, श्रीमंत सिंधिया ने देवदूत बनकर लोगों की मदद की है।

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